छत्तीसगढ़ में पंचायतों और नगरीय निकायों को को आर्थिक रूप से सुदृढ़ बनाने के लिए राज्य की भाजपा सरकार ने उन्हें खनिजों से मिलने वाले राजस्व का एक हिस्सा देने का फैसला किया है। इससे प्राप्त होने वाले राजस्व को पंचायतें व नगरीय निकाय अपने यहां विकास कार्याें में खर्च कर सकेंगे। इसके साथ ही सरकार ने राज्य की सभी पंचायतों की वेबसाइट बनाने का फैसला किया है। इसका मकसद राज्य की पंचायती राज संस्थाओं की कार्यप्रणाली को पारदर्शी बनाना और उनकी उपलब्धियां जनता के सामने लाना है। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि सरकार ने गिट्टी, रेत, मिट्टी, मुरूम और निम्न श्रेणी के चूना पत्थर जैसे गौण खनिजों के उत्खनन से मिलने वाले राजस्व में छत्तीसगढ़ की पंचायत राज संस्थाओं और नगरीय निकायों को भी भागीदार बनाया है। इस रॉयल्टी का एक निश्चित प्रतिशत हिस्सा उन्हें विकास कार्यो के लिए मिलेगा। इसके साथ ही राज्य के खनिज साधन विभाग ने गौण खनिजों की रॉयल्टी के वितरण के लिए प्रक्रिया तय कर दी है। इसके अनुसार पूर्व वित्तीय वर्ष में गौण खनिजों से प्राप्त सभी राजस्व का 33 प्रतिशत पंचायत और ग्रामीण विकास विभाग को दिया जाएगा, जबकि 67 प्रतिशत राशि का वितरण पंचायतों और स्थानीय निकायों को किया जाएगा। उन्होंने बताया कि परिपत्र के अनुसार ग्राम पंचायतों और जनपद पंचायतों को दी गई राशि तथा उस पर अर्जित ब्याज का उपयोग संबंधित ग्राम पंचायतों और जनपद पंचायतों द्वारा केवल विकास कार्यों के लिए किया जाएगा। इस राशि का उपयोग किसी भी प्रकार के आकस्मिक व्यय, स्थापना व्यय, वाहन खरीद या अन्य किसी प्रकार के व्यय के लिए नहीं किया जाएगा। इसके अलावा राज्य की डॉ. रमन सिहं सरकार ने राज्य के सभी स्थानीय निकायों की वेबसाइट बनाने का फैसला किया है जिसके माध्यम से लोगों तक सही जानकारी पहुंचाई जाएगी। इसका मकसद राज्य की पंचायती राज संस्थाओं की जानकारी एक ही जगह उपलब्ध कराने और पंचायतों की उपलब्धियां जनता के सामने लाना है। इसके लिए छत्तीसगढ़ की सभी 18 जिला पंचायतों, 146 जनपद पंचायतों और नौ हजार 734 ग्राम पंचायतों द्वारा अपनी-अपनी वेबसाइट बनाई जाएगी। पहले चरण में राज्य की सभी जिला पंचायतों, जनपद पंचायतों और प्रत्येक जिले की 10 ग्राम पंचायतों की वेबसाइट राष्ट्रीय पंचायत पोर्टल में प्रदर्शित की जाएगी। अधिकारियों ने बताया कि पूरे देश की सभी पंचायतों की वेबसाइटें एक ही स्थान पर उपलब्ध कराने के लिए केंद्र सरकार द्वारा राष्ट्रीय पंचायत पोर्टल तैयार किया गया है। राज्य की सभी पंचायतों की अपनी-अपनी वेबसाइटों को इसी पोर्टल में विकसित करने की व्यवस्था की गई है। उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय पंचायत पोर्टल के कार्य के लिए जिला स्तर पर पंचायत और समाज कल्याण के संयुक्त संचालक या उप संचालक को तथा जनपद पंचायत स्तर पर मुख्य कार्यपालन अधिकारी को नोडल अधिकारी बनाया जाएगा। उन्हें राष्ट्रीय पंचायत पोर्टल पर संबंधित पंचायतों की जानकारी प्रदर्शित करवाने की जिम्मेदारी सौंपी जाएगी। राष्ट्रीय पंचायत पोर्टल के संबंध में प्रत्येक जिले में जिला सूचना विज्ञान अधिकारी द्वारा जुलाई माह में प्रशिक्षण भी दिया जाएगा। इस प्रशिक्षण में नोडल अधिकारी और संबंधित कंप्यूटर आपरेटर सम्मिलित होंगे। अधिकारियों ने बताया कि राष्ट्रीय पंचायत पोर्टल में विभिन्न विषयों मसलन, भौगोलिक क्षेत्र, जनसंख्या, निर्वाचन, निर्वाचित पदाधिकारियों का बायोडाटा, पंचायत राज संस्था का बजट, योजना, जनकल्याणकारी योजनाओं, वित्तीय प्रगति, शिकायतें, आवेदन पत्र, सफलता की कहानियां फोल्डर बने हुए हंै। इन विषयों के अनुरूप लोगों को जानकारी दी जाएगी।
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