Thursday, March 29, 2012

अपनी मुद्रा में एक दूसरे को कर्ज देंगे ब्रिक्स


वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं में उभरती ताकत माने जाने वाले दुनिया के पांच देश ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका स्थानीय मुद्राओं में एक दूसरे को कर्ज उपलब्ध कराने के समझौते के काफी करीब पहुंच गए हैं। सभी देशों के बीच आपसी व्यापार को 500 अरब डॉलर तक पहुंचाने पर भी सहमति बन गई है। इसके अलावा एक संयुक्त विकास बैंक की स्थापना को भी ये देश राजी हो गए हैं। सूत्रों के मुताबिक इस आशय के समझौतों पर गुरुवार को शिखर बैठक के बाद हस्ताक्षर होने की संभावना है। पांचों ब्रिक्स देशों के राष्ट्राध्यक्षों का सम्मेलन गुरुवार को दिल्ली में शुरू हो रहा है। सम्मेलन में आपसी व्यापार को बढ़ाने के साथ साथ क्षेत्रीय हालात पर भी चर्चा होगी। दुनिया की 40 प्रतिशत से अधिक जनसंख्या का प्रतिनिधित्व करने वाले पांचों देशों के नेता चौथी शिखर वार्ता के लिए यहां पहुंच रहे हैं। इस बार शिखर वार्ता की थीम वैश्विक स्थिरता, सुरक्षा और समृद्धि के लिए ब्रिक्स की साझेदारी तय की गई है। इससे पहले बुधवार को ब्रिक्स देशों के वाणिज्य मंत्रियों ने बैठक कर आपसी व्यापार को बढ़ाने वाले समझौते की रूपरेखा तैयार की। बैठक के बाद पांचों मंत्रियों ने संवाददाता सम्मेलन कर आपसी व्यापार की दिशा में उठाये जाने वाले कदमों की जानकारी दी। वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री आनंद शर्मा ने बताया कि ब्रिक्स देशों के बीच मौजूदा व्यापार 230 अरब डॉलर का है। यह 28 प्रतिशत सालाना की दर से बढ़ रहा है। सभी देशों ने इसे 500 अरब डॉलर तक पहुंचाने का लक्ष्य तय किया है। चीन के राष्ट्रपति हू जिंताओ बुधवार दोपहर बाद यहां पहुंचे। उनके साथ आए उच्च स्तरीय शिष्टमंडल में विदेश मंत्री यांग जिएची, स्टेट काउंसिलर दाई बिंगुओ, वरिष्ठ मंत्री और उद्योगपति शामिल हैं। इसके अलावा बुधवार सुबह पहुंचे रूसी राष्ट्रपति दमित्री मेदवेदेव के साथ भी वरिष्ठ अधिकारियों का बड़ा समूह है। ब्राजील की राष्ट्रपति डिलमा रोसेफ मंगलवार को ही दिल्ली पहुंच गई थीं। जबकि दक्षिण अफ्रीकी राष्ट्रपति जैकब जुमा अपनी पत्नी नोंपुमेलेते तुली एवं आधिकारिक शिष्टमंडल के साथ बुधवार सुबह पहुंचे। गुरुवार को होने वाली शिखर वार्ता से पहले सभी नेताओं के सम्मान में भारत की राष्ट्रपति प्रतिभा देवी सिंह पाटिल ने बुधवार शाम भोज का आयोजन किया। गुरुवार को होने वाली शिखर वार्ता के बाद प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह चीनी राष्ट्रपति समेत अन्य नेताओं से द्विपक्षीय बातचीत करेंगे। इसमें व्यापार घाटे को कम करना और नए विश्वास बहाली कदम तेज करने जैसे अनेक विषयों को लिया जाएगा। शिखर वार्ता में भारत द्विपक्षीय व्यापार में भारी असंतुलन के मुद्दे को उठा सकता है जो करीब 70 अरब डॉलर बढ़ गया है। सिंह रूस के राष्ट्रपति के साथ भी द्विपक्षीय वार्ता करेंगे जिस दौरान असैन्य परमाणु सहयोग एवं अन्य रणनीतिक मुद्दों को लिया जा सकता है। शिखर सम्मेलन के दौरान ब्रिक्स की अध्यक्षता भारत को सौंपी जाएगी।

No comments:

Post a Comment